NCERT Solutions | Class 6 Hindi Grammar | कारक

CBSE Solutions | Hindi Class 6
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NCERT | Class 6 Hindi
Book: | National Council of Educational Research and Training (NCERT) |
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Board: | Central Board of Secondary Education (CBSE) |
Class: | 6th |
Subject: | Hindi Grammar |
Chapter: | |
Chapters Name: | कारक |
Medium: | Hindi |
कारक | Class 6 Hindi | NCERT Books Solutions
कारक का शाब्दिक अर्थ है-‘क्रिया को करने वाला’ अर्थात क्रिया को पूरी करने में किसी-न-किसी भूमिका को निभाने वाला। यानी अर्थपूर्ण बनाने वाला।
संज्ञा या सर्वनाम के जिस रूप से क्रिया तथा वाक्य के अन्य शब्दों के साथ संबंध का पता चलता है, उसे कारक कहते हैं।
कारक के भेद – कारक के आठ भेद हैं
आइए, कारक चिह्नों के वाक्यों में प्रयोग के उदाहरण पर एक नज़र डालें
- कर्ता (ने) – अंशु ने बर्गर खाया।
कोहली ने शानदार दोहरा शतक लगाया। - कर्म (को) – तुषार ने आयुष को पुस्तक दी।
श्रीकृष्ण ने कंस को मारा। - करण ( से/के द्वारा) – माँ चाकू से फल काटती है।
- संप्रदान (को, के लिए) – मैं आपके लिए चाय बना रही हूँ।
- अपादान (से) – पेड़ से पत्ते गिर रहे हैं।
- अधिकरण (में, पर) – मछली पानी में रहती है।
- संबंध (का, की, के, रा, री, रे) – यह आयुष का घर है।
नेहा के पिता लेखक है। - संबोधन (हे, अरे, ओ )-हे! राम ये क्या हुआ? अरे! तुम कब आए?
कारक, कारक चिह्न, परसर्गः
- कर्ता कारक – कर्ता का अर्थ होता है-करने वाला; जैसे-आयुष ने स्वर्ण पदक जीतकर विद्यालय का सक्मान बढ़ाया।
उपर्युक्त वाक्य में सम्मान बढ़ाने वाला आयुष है। अतः कर्ता वही है और इसका ज्ञान करा रहा है–ने परसर्ग।
शब्द के जिस रूप से क्रिया के करने वाले का बोध हो, उसे कर्ता कारक कहते हैं। जैसे-माँ ने खाना बनाया। - कर्म कारक – शब्द के जिस रूप पर क्रिया का फल पड़े, उसे कर्म कारक कहते हैं। कर्म कारक का परसर्ग ‘को’ होता है; जैसे-डाकिया ने ओजस्व को पत्र दिया।
कर्म की पहचान के लिए क्रिया के साथ क्या तथा किसको लगाकर प्रश्न करने पर, जो उत्तर. आता है वही कर्म होता है। - करण कारक – कर्ता जिस साधन या माध्यम से कार्य करता है, उस साधन या माध्यम को करण कारक कहते हैं। करण कारक के परसर्ग ‘से’ के दुवारा’ तथा ‘के साथ होते हैं; जैसे–ओजस्व ने राष्ट्रपति के हाथों पुरस्कार पाया। मुझे जहाज़ से कोलकता जाना है। राधा दादी जी के साथ रह रही है।
- संप्रदान कारक – जहाँ कर्ता किसके लिए कार्य करता है या जिसे कुछ देता हैं उस भाव को बताने वाले शब्द को संप्रदान कारक कहते हैं। इस कारक के परसर्ग हैं-को, के लिए, हेतु। जैसे–नेता जी ने गरीबों को कंबल बाँटे। पिता जी ओजस्व के लिए साइकिल लाए। बहनें अपनी रक्षा हेतु भाइयों को राखी बाँधती हैं।
- अपादन कारक – संज्ञा और सर्वनाम के जिस रूप से अलग होने, दूरी बताने, तुलना करने तथा सजाने आदि के भाव का पता चलता है, उसे अपादान कारक कहते हैं। अपादान कारक का परसर्ग ‘से होता है। अपादान कारक की पहचान के लिए क्रिया के साथ कहाँ से, किससे लगाकर प्रश्न किया जाता है। फिर उसका उत्तर आता है, वह अपादान कारक होता है; जैसे-नेहा
सीमा से सुंदर है। बाघ शिकारी से डर गया। आयुष दुकान से चीनी लाया। - संबंध कारक – संज्ञा के जिस रूप से दो संज्ञाओं अथवा सर्वनामों के आपसी संबंध का पता चलता है, वह संबंध कारक कहलाता है। संबंध कारक की पहचान के लिए अथवा सर्वनाम के साथ किसका, किसकी, किसके, किसने आदि शब्दों को लगाकर प्रश्न करके उसके उत्तर प्राप्त किए जाते हैं, वे ही उत्तर संबंध कारक कहलाते हैं, संबंध कारक के परसर्ग का, के, की, रा, रे, री,
ना, ने, नी आदि होते हैं; जैसे—यह बस्ता ओजस्व का है। कल नेहा की शादी है। अंशु दादी जी के साथ स्कूल गई। - अधिकरण कारक – संज्ञा के जिस रूप से क्रिया के समय, स्थान, अवसर आदि का पता चलता है, उसे अधिकरण कारक कहते हैं। अधिकरण कारक के परसर्ग ‘में’ तथा ‘पर’ होते हैं। अधिकरण कारक की पहचान के लिए वाक्य में क्रिया के साथ कहाँ लगाकर प्रश्न तथा उत्तर प्राप्त करने के लिए किया जाता है; जैसे–पेड़ पर चिड़िया बैठी है। मेज़ पर अंशु की किताब रखी
है। थैले में फल हैं। - संबोधन कारक – जिन संज्ञा शब्दों का प्रयोग किसी को बुलाने या पुकारने अथवा संबोधित करने के लिए किया जाता है, वे संबोधन कारक कहलाते हैं। संबोधन कारक में परसर्ग ‘अरे, हे, ओ’ आदि होते हैं। जैसे-अरे मोहन! यहाँ आना! हे वीरो! – मातृभूमि की रक्षा करो।
बहुविकल्पीय प्रश्नोत्तर
1. कारक की विभक्तियों का अन्य नाम है
(i) काल
(ii) चिह्न
(iii) परसर्ग
(iv) क्रिया
2. ‘का’ ‘की’ ‘के’ विभक्ति-चिह्न हैं
(i) संबंध कारक के
(ii) कर्म कारक के
(iii) कर्ता कारक के
(iv) संप्रदान कारक के
3. कारक के भेद होते हैं
(i) पाँच
(ii) सात
(iii) आठ
(iv) नौ
4. रेखांकित में कारक के नाम बताइए–’पेड़ से पत्ते गिरते हैं।’
(i) करण कारक
(ii) अपादान कारक
(iii) संबंध कारक
(iv) संप्रदान कारक
5. भिखारी को भीख दे दो
(i) कर्मकारक
(ii) करण कारक
(iii) अपादान कारक
(iv) संप्रदान कारक
6. बच्चा कुत्ते से डरता है
(i) करण कारक
(ii) कर्म कारक
(iii) अपादान कारक
(iv) कर्ता कारक
7. तुम्हारे घर सोना बरसेगा
(i) कर्ता कारक
(ii) अधिकरण कारक
(iii) अपादन कारक
(iv) कारण कारक
8. नेहा’ मेरे लिए कॉफ़ी बनाने लगी। वाक्य में रेखांकित शब्द है
(i) कर्ता कारक
(ii) करण कारक
(iii) संप्रदान कारक
(iv) अपादान कारक
9. ‘चाय मेज़ पर रख देना’ रेखांकित शब्द कारक है
(i) कर्ता कारक।
(ii) अपादान कारक
(iii) संबोधन कारक
(iv) अधिकरण कारक
10. मोहन की पुस्तक मेरे पास है। रेखांकित शब्द कारक है।
(i) संबंध कारक
(ii) अधिकरण कारक
(iii) अपादान कारक
(iv) कर्म कारक
उत्तर-
1. (iii)2. (ii)
3. (iii)
4. (ii)
5. (iv)
6. (iii)
7. (ii)
8. (iii)
9. (iv)
10. (i)
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